केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने रविवार (14 जून) को दिल्ली के उप राज्यपाल अनिल बैजल और मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के साथ करीब डेढ़ घंटे मीटिंग की थी। दिल्ली में कोरोना संक्रमण की रफ्तार कोथामने के उद्देश्य से हुई इस मीटिंग मेंकोरोना टेस्ट बढ़ाने काफैसला लिया गया था। बैठक में राजधानी में 2 दिन में कोरोना टेस्ट दोगुनाऔर 6 दिन में तीन गुना किए जाने का लक्ष्य रखा गया।

यह फैसलाइसलिए आया क्योंकि पिछले हफ्ते (7 से 13 जून) दिल्ली में कोरोना टेस्ट का पॉजिटिविटी रेट 31.08% रहाथा। यानी यहां कोरोना के 100 टेस्टमें 31 लोग पॉजिटिव मिल रहे थे। लद्दाख के बाद देशभर में यह सबसे ज्यादा है। लद्दाख में यह रेट 34.8% है।

डब्लूएचओ के मुताबिक, पॉजिटिविटी रेट ज्यादा होने का मतलब है कि राज्य में सिर्फ बीमार लोगों का ही टेस्ट हो रहा है। ऐसे में बड़ी संख्या में संक्रमित लोगों की पहचान नहीं हो पाती और कम्यूनिटी में संक्रमण किस हद तक फैल चुका है, इसका भी अंदाजा नहीं लगाया जा सकता। डब्यूएचओ टेस्ट पॉजिटिविटी रेट को 5% से कम रखने का सुझाव देता है। भारत में पिछले हफ्ते 10 राज्यों में टेस्ट पॉजिटिविटी रेट 5% से ज्यादा रहा है। यानी इन राज्यों में संक्रमण का असल स्तर जानने के लिए टेस्ट बढ़ाए जाने की जरूरत है।

एक अच्छी बात यह भी है कि देश के 24 राज्य और केन्द्र शासित प्रदेशों में यह दर 5% से कम है। इसमें पूर्वोत्तर और दक्षिणके राज्यों का प्रदर्शन उत्तर भारतीय राज्यों से ज्यादा बेहतर है।

टेस्ट की तुलना में संक्रमित ज्यादा बढ़ रहे, इसलिए पॉजिटिविटी रेट भी बढ़ा
भारत में पिछले हफ्ते 9.82 लाख टेस्ट हुए। 2 महीने पहले की तुलना में यह 8 गुना ज्यादा हैं। लेकिन कोरोना संक्रमितों के मामले इस दौरान 13 गुना बढ़ गए। इस कारण देश की टेस्ट पॉजिटिविटी रेट में भी इजाफा हुआ। 2 महीने पहले भारत में टेस्ट पॉजिटिविटी रेट 5% के नीचे था, वह अब 8% परपहुंच गया है।

10 सबसे ज्यादा प्रभावित राज्यों को देखें तो सभी में कोरोना टेस्ट तो बढ़े हैं लेकिन इनमें से 7 में संक्रमितों की संख्या टेस्ट के मुकाबले ज्यादा बढ़ी है। यानी इन सात राज्यों में पॉजिटिविटी रेट में इजाफा हुआ है। हरियाणा में सबसे ज्यादा बढ़ोतरी हुई है। यहां दो महीने में पॉजिटिविटी रेट चार गुना बढ़ाहै।

आबादी के लिहाज से लद्दाख में सबसे ज्यादा, बिहार में सबसे कम टेस्ट
केन्द्र शासित प्रदेश लद्दाख में प्रति 10 लाख पर 38 हजार लोगों का टेस्ट हो रहा है। यह देश में सबसे ज्यादा है। जम्मू-कश्मीर, दिल्ली और तमिलनाडु भी टॉप-10 में शामिल है। वहीं, बिहार में प्रति 10 लाख महज 1034 टेस्ट हो रहे हैं। यह सबसे कम है। उत्तर प्रदेश और झारखंड आबादी के लिहाज से कम टेस्ट करने के मामले में दूसरे और तीसरे नंबर पर हैं।

ब्राजील में पॉजिटिविटी रेट सबसे ज्यादा, भारत छठे नंबर पर
56 लाख से ज्यादा टेस्ट के साथ भारत चौथा सबसे ज्यादा टेस्ट करने वाला देश है। भारत में फिलहाल हर दिन करीब डेढ़ लाख टेस्ट हो रहे हैं और औसतन रोज 300 संक्रमित मिल रहे हैं। जॉन हॉपकिंस यूनिवर्सिटी के डेटा के मुताबिक, भारत में टेस्ट पॉजिटिविटी रेट 8.73% है और यह डब्लूएचओ के बेंचमार्क (5%) से काफी ज्यादा है।

देश में टेस्टिंग कैपेसिटीबढ़ाने की जरूरत है। डेटा के मुताबिक, ब्राजील में पॉजिटिविटी रेट सबसे ज्यादा है। यहां हर 100 टेस्ट में 36 से ज्यादा सैम्पल कोरोना पॉजिटिव मिल रहे हैं। भारत टेस्ट पॉजिटिविटी रेट में छठे नंबर पर है।



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